ग्रेट इंडियन बस्टर्ड सहित दो पक्षी प्रजातियों के संरक्षण से संबंधित एक याचिका का सुप्रीम कोर्ट के समक्ष उल्लेख किया गया। भारत के मुख्य न्यायाधीश एनवी रमना की अध्यक्षता वाली पीठ ने इसे सूचीबद्ध करने पर सहमति व्यक्त की।
पीठ के समक्ष पेश हुए एक वकील ने अदालत से ग्रेट इंडियन बस्टर्ड से संबंधित मामले को तीन-न्यायाधीशों की पीठ के समक्ष सूचीबद्ध करने का आग्रह किया क्योंकि मामला दो-न्यायाधीशों की पीठ के समक्ष सूचीबद्ध किया गया है। वकील ने अदालत को यह भी बताया कि मामले की सुनवाई पहले तीन न्यायाधीशों की पीठ के समक्ष की गई थी। इससे पहले, तीन-न्यायाधीशों की पीठ ने संबंधित अधिकारियों को ओवरहेड केबलों को भूमिगत बिजली लाइनों में बदलने का निर्देश दिया था। अदालत का यह आदेश ग्रेट इंडियन बस्टर्ड सहित पक्षियों की दो प्रजातियों के संरक्षण की मांग वाली याचिका पर आया था। याचिका में कहा गया है कि ओवरहेड बिजली लाइनों का अस्तित्व एक खतरा बन गया है जिससे टकराने पर उक्त प्रजातियों के पक्षी मारे जा रहे हैं।
याचिकाकर्ताओं के अनुसार, ग्रेट इंडियन बस्टर्ड के अस्तित्व के लिए ओवरहेड बिजली लाइनें सबसे बड़ा खतरा हैं।
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